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    आयुष्मान भारत योजना पर संकट! हरियाणा के 675 निजी अस्पतालों ने इलाज बंद करने का किया ऐलान

    हरियाणा। हरियाणा के 675 निजी अस्पतालों में आयुष्मान भारत योजना के तहत आज रात 12 बजे से इलाज करने का एलान है, इसको लेकर हरियाणा सरकार की ओर स्वास्थ्य विभाग के एसीएस सुधीर राजपाल और भारतीय चिकित्सा संघ (आईएमए) के साथ दोपहर अहम बैठक होनी है। स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी इस बैठक में इलाज बंद ना करने को लेकर कुछ हल निकले की संभावना जाहिर कर रहे हैं। वहीं, इसके बाद शाम को आईएमए के साथ सभी पैनलबद्ध निजी अस्पतालों के प्रशासनिक अधिकारियों के साथ बैठक होगी। अभी तक आईएमए छह अगस्त यानी आज की रात 12 बजे से भुगतान बकाया होने और सिस्टम खराब होने का हवाला देकर इलाज रोकने के ऐलान पर अडिग है।

    हरियाणा की राज्य स्वास्थ्य एजेंसी (एसएचए) ने मंगलवार को दावा किया है कि प्रदेश सरकार से बजट मिल गया है। अब पैनलबद्ध निजी अस्पतालों को पहले आओ-पहले पाओ के आधार पर आयुष्मान योजना के तहत बकाया का भुगतान शुरू कर दिया गया है। सूत्रों के अनुसार 310 करोड़ रुपये सरकार ने जारी किए हैं। वहीं, भारतीय चिकित्सा संघ (आईएमए) के पूर्व प्रधान डॉ. अजय महाजन ने कहा कि सरकार जब तक पूरा बकाया नहीं देती और बिगड़े हुए सिस्टम में सुधार नहीं जाता तब तक प्रदेश में सभी 675 अस्पतालों में 6 जुलाई की रात 12 बजे से इलाज बंद करने का फैसला बरकरार है।

    अब तक 2,900 करोड़ रुपये दिए : सरकारी प्रवक्ता

    सरकारी प्रवक्ता ने बताया कि योजना की शुरुआत से अब तक अस्पतालों को 2,900 करोड़ रुपये दिए गए हैं। वित्त वर्ष 2025-26 में 16 जुलाई 2025 तक राज्य और केंद्र सरकारों से मिले 240.63 करोड़ रुपये दिए जा चुके हैं। एसएचए ने भुगतान में देरी, दावा अस्वीकृति और दावों पर प्रक्रिया न करने की शिकायतों पर भी संज्ञान लिया है। अब तक पैनलबद्ध अस्पतालों की 400 से अधिक शिकायतों को औपचारिक रूप से सीजीआरएमएस 2.0 पोर्टल के माध्यम से पंजीकृत किया जा चुका है।

    पूरा भुगतान, सिस्टम में सुधार के बाद ही इलाज : महाजन

    आईएमए के पूर्व प्रधान डॉ. अजय महाजन ने कहा कि 15 जुलाई तक का भुगतान करने का सरकार ने वादा किया था जो कि तकरीबन 500 करोड़ रुपये बनता है। अब सरकार ने 310 करोड़ रुपये की मंजूरी दी है। इस राशि के अस्पतालों तक पहुंचने में एक माह से अधिक लगेगा। तब तक बकाया राशि और बढ़ जाएगी। केंद्र सरकार ने कुल बकाया राशि पर प्रति माह चार फीसदी का ब्याज देने का प्रावधान बनाया है। इसके अलावा पिछले लंबित भुगतान का विवाद भी नहीं सुलझाया गया जो कि 50 से 100 करोड़ रुपये के बीच है। उन्होंने बताया कि बुधवार दोपहर को स्वास्थ्य विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव सुधीर राजपाल के साथ आईएमए की बैठक होगी। वहीं शाम के समय पैनल में शामिल अस्पताल संचालकों की बैठक होगी जिसमें आयुष्मान योजना के तहत उपचार किया जाएगा या नहीं, इस पर फैसला लिया जाएगा।

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