More
    Homeराज्यमध्यप्रदेशMP के इंजीनियरिंग अफसरों की फिर होगी परीक्षा, तैयारी को मिले 46...

    MP के इंजीनियरिंग अफसरों की फिर होगी परीक्षा, तैयारी को मिले 46 दिन

    भोपाल: राजधानी में इंजीनियरिंग का अदभुत नमूना बना 90 डिग्री वाले ब्रिज के मामले में पीडब्ल्यूडी विभाग की जमकर किरकिरी हुई है. इस मामले के बाद लोक निर्माण विभाग अब अपनी सभी इंजीनियरों का किताबी ज्ञान जांचने जा रहा है. इसके लिए लोक निर्माण विभाग के सभी एक्जीक्यूटिव इंजीनियर और उससे नीचे के इंजीनियरों का एग्जाम कराने की तैयारी की जा रही है. यह परीक्षा ऑनलाइन और ऑफलाइन मोड में हो सकती है. विभाग ने सभी इंजीनियरों को तैयारी के लिए 15 अगस्त तक का समय दिया है. परीक्षा के जरिए इंजीनियरों के तकनीकी ज्ञान की क्षमताओं को आंका जाएगा.

    इंजीनियरों को फिर पलटनी होंगी किताबें

    पीडब्ल्यूडी विभाग के प्रमुख सचिव बनाए गए सुखवीर सिंह ने विभाग द्वारा किए जा रहे निर्माण कार्यों में गुणवत्ता को बेहतर बनाने के लिए कसावट शुरू कर दी है. विभाग द्वारा कराए जा रहे भवन, सड़क और ब्रिज निर्माण के कामों को मजबूत और गुणवत्तापूर्ण बनाने के लिए सभी मानकों का पालन कराने के लिए निर्देश दिए गए हैं. साथ ही निर्माण कार्यों की मॉनिटरिंग करने वाले तमाम इंजीनियरों के तकनीकी कौशल की परीक्षा भी लेने के निर्देश दिए हैं. इस संबंध में उन्होंने एमपी आरडीसी और मध्य प्रदेश भवन विकास निगम को दिशा निर्देश जारी किए हैं.

    निर्देश में कहा गया है कि विभाग में कार्यरत सभी एग्जीक्यूटिव इंजीनियर से लेकर नीचे तक के सभी इंजीनियर 15 अगस्त तक निर्माण कार्यों में काम आने वाले कोड्स का अध्ययन कर लें और निर्माण कार्यों में इसका उपयोग करें. इसके बाद एक मूल्यांकन परीक्षा आयोजित की जाएगी. यह ऑनलाइन और ऑफलाइन मोड पर हो सकती है. परीक्षा के लिए इंजीनियरों को भारतीय सड़क कांग्रेस, नेशनल बिल्डिंग कोड और दूसरे संबंधित मानकों का अध्ययन करना होगा. इन्हीं कोड्स के आधार पर सभी तरह के निर्माण कार्य किए जाते हैं.

    इंजीनियरों को दिया जाएगा स्टडी मटेरियल

    विभाग इसके लिए सभी इंजीनियरों को निर्माण कार्यों में जरूरी कोड्स की सूची विभाग के पोर्टल पर जल्द ही उपलब्ध कराएगा. निर्देश दिया गया है कि विभाग के मुख्य अभियंता और अधीक्षण यंत्री भी अपने क्षेत्र से संबंधित सभी महत्वपूर्ण कोड्स का अध्ययन कर लें. ताकि निर्माण की गुणवत्ता में किसी तरह की कमी न रह जाए. मध्य प्रदेश में अभी हजारों करोड़ के निर्माण कार्य चल रहे हैं, जिनकी गुणवत्तापूर्ण निर्माण की पूरी जिम्मेदारी इंजीनियरों की ही होती है.

    घटिया निर्माण के कई मामले आ चुके सामने

    पीडब्ल्यूडी विभाग के इंजीनियरों की लापरवाही मामले लगातार सामने आते रहे हैं. ताजा मामला भोपाल के 90 डिग्री वाले रोड ओवर ब्रिज का है. इस मामले में मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के निर्देश पर 8 अधिकारियों पर कार्रवाई की गई है. इसके पहले भोपाल के जीजी फ्लाईओवर की सड़क उसके उद्घाटन के एक हफ्ते के अंदर ही उखड़ने लगी थी. इस मामले में भी इंजीनियरों को सस्पेंड किया गया था.

    latest articles

    explore more

    LEAVE A REPLY

    Please enter your comment!
    Please enter your name here