
जयपुर में हुआ संस्कार शिविर
मिशनसच न्यूज, जयपुर। जैन समाज के युवा वर्ग में धार्मिक संस्कारों की अलख जगाने वाले हेतक्ष सोगानी ने रविवार को जयपुर में आयोजित संस्कार शिविर में जैन मुनि श्री 108 आदित्य सागर महाराज जी के सान्निध्य में श्रद्धापूर्वक धर्मलाभ प्राप्त किया। कम उम्र में ही जैन धर्म के प्रति गहरी श्रद्धा और समर्पण से प्रेरित हेतक्ष समाज के लिए प्रेरणा का स्रोत बनते जा रहे हैं।
सुरेश कुमार सोगानी एवं श्रीमती चित्रा सोगानी के पौत्र तथा श्रीमान सुचित सोगानी एवं श्रीमती रुचि सोगानी के सुपुत्र हेतक्ष सोगानी विगत पाँच वर्षों से दशलक्षण पर्व में एकासन का पालन कर रहे हैं। चौदस का वास एवं भगवान के कलश करके आराधना करना उनकी दिनचर्या का अहम हिस्सा है।
जैन मुनि श्री 108 आदित्य सागर महाराज जी से जुड़कर हेतक्ष प्रतिदिन पादप्रक्षालन का सौभाग्य प्राप्त करते हैं। रविवार, 24 अगस्त 2025 को संस्कार शिविर में बड़ी संख्या में बच्चों ने धार्मिक संस्कार आत्मसात किए। इस अवसर पर हेतक्ष ने भी श्रद्धा और भक्ति के साथ सहभागिता कर पुण्य अर्जित किया।
संस्कार शिविर का वातावरण अत्यंत भक्ति-भाव से परिपूर्ण रहा। सुबह मंगलाचरण और सामूहिक पाठ से कार्यक्रम का शुभारंभ हुआ। इसके बाद प्रवचन में जीवन में संयम, साधना और सेवा के महत्व पर प्रकाश डाला। बच्चों को धर्मशिक्षा से जुड़े प्रेरक प्रसंग सुनाए गए, जिन्हें सुनकर उपस्थित जन-समुदाय भावविभोर हो उठा।
शिविर के दौरान भक्ति संगीत और सामूहिक स्तुति ने वातावरण को और भी आध्यात्मिक बना दिया। बच्चों ने गुरु वंदना कर मुनि श्री से आशीर्वाद प्राप्त किया। अंत में सभी प्रतिभागियों को जैन धर्म की मूल शिक्षाओं पर आधारित छोटे-छोटे संस्कारों का अभ्यास कराया गया।
समाज के वरिष्ठ जनों का कहना है कि इस प्रकार के शिविर न केवल बच्चों में धर्म व संस्कारों का बीजारोपण करते हैं बल्कि उन्हें संयम, अनुशासन और सेवा की राह पर भी अग्रसर करते हैं। हेतक्ष सोगानी की धर्मनिष्ठा और साधना जैन समाज के लिए अनुकरणीय उदाहरण है।