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    ब्रिटेन में पीओके दस्तावेजों से वीजा घोटाला उजागर, गृह मंत्रालय की जांच शुरू

    व्यापार : पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (पीओके) क्षेत्र के प्रवासी ब्रिटेन में वीजा हासिल करने के लिए फर्जी दस्तावेजों का इस्तेमाल कर रहे हैं। ब्रिटेन की मीडिया जांच में यह दावा किया गया है। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार ये लोग ब्रिटेन में प्रवेश करके देश में शरण के लिए आवेदन कर रहे हैं। 

    50,000 पाउंड में फर्जी वीजा

    द डेली टेलीग्राफ समाचार पत्र ने कहा कि एक गुप्त जांच से पता चला कि यह प्रवासी गलत जानकारी से भरे वीजा आवेदनों के लिए 50,000 पाउंड तक का भुगतान कर रहे हैं। समाचार पत्र ने मीरपुर स्थित एक ऐसे सलाहकार की, जो इस प्रक्रिया मे मदद करता है। एक आवेदन जो ब्रिटेन के होम ऑफिस को भेजा गया था और अखबार ने हासिल किया, उसमें पीओके के एक फर्जी अस्पताल की जॉब रेफरेंस शामिल थी। अखबार की गुप्त जांच के हिस्से के रूप में, एक व्यक्ति ने आवेदक बनकर फर्जी बायोडाटा और नौकरी के अनुभव का एक पत्र तैयार कराया, जिसे यूके वर्क वीजा आवेदन में शामिल किया गया और वह आवेदन आखिरकार मंजूर हो गया।

    पाकिस्तानी करते हैं सबसे अधिक वीजा आवेदन

    ब्रिटेन में शरण मांगने वाले लोगों की सूची में पाकिस्तानियों की संख्या सबसे अधिक है।  इसके बाद अफगानिस्तान, ईरान और बांग्लादेश का स्थान है। हालांकि, अवैध रूप से छोटी नावों के जरिए ब्रिटेन पहुंचने वालों शीर्ष देशों में शामिल नहीं हैं। इमिग्रेशन वकील हरजप भंगल के हवाले से कहा गया कि उन्हें छोटी नावों से आने की जरूरत नहीं  है क्योंकि वे वीजा पर आते हैं। वे वीजा पर आने वाले सबसे बड़े समूहों में से एक हैं और वापस नहीं जाते।

    गृह मंत्रालय ने कहा- अवैध गतिविधियां बर्दाशत नहीं की जाएगी

    ब्रिटेन के गृह मंत्रालय ने इस खुलासे पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि वह दावों की जांच कर रहे हैं। साथ ही , वह उन लोगों से स्किल्ड वर्कर वीजा रूट का दुरुपयोग करने पर लाइसेंस रद्द करना जारी रखे हुए है। गृह मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि अवैध गतिविधि बर्दाश्त नहीं की जाएगी और हम यह सुनिश्चित करने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ेंगे कि हमारे इमिग्रेशन नियमों का सम्मान और पालन हो। इसीलिए हम इन दावों की जांच कर रहे हैं और अवैध गतिविधि पाए जाने पर उसे रोकने के लिए सख्त कदम उठा रहे हैं, जिसमें लाइसेंस निलंबित करना, प्रवर्तन को आगे बढ़ाना और इमिग्रेशन प्रणाली की अखंडता की रक्षा के लिए सुरक्षा उपायों को मजबूत करना शामिल है।

    सख्त कार्रवाई से आवेदनों में आई 40 प्रतिशत की कमी 

    प्रवक्ता ने कहा कि पिछले साल वीजा आवेदनों में 40 प्रतिशत की कमी आई है। हमने लगभग 30,000 ऐसे लोगों को हटाया है जिनका यहां रहने का कोई अधिकार नहीं था और अवैध काम के लिए छापेमारी में गिरफ्तारियां 51 प्रतिशत बढ़ गई हैं। हम उन पंजीकृत सलाहकारों और संगठनों को तुरंत निलंबित करने के लिए नए अधिकार भी दे रहे हैं जिन पर व्यवस्था का सबसे ज्यादा दुरुपयोग करने का संदेह है। ब्रिटेन के कानून के तहत, विदेशों में फर्जी वीजा उपलब्ध कराने वाले किसी भी व्यक्ति की रिपोर्ट एक्शन फ्रॉड को की जा सकती है और राष्ट्रीय धोखाधड़ी खुफिया ब्यूरो द्वारा खुफिया जानकारी का विश्लेषण किया जाता है।

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