राजा की हत्या के बाद 14 दिन इंदौर में रही सोनम, राज को सौंपा था ये खास मिशन

शिलांग के बंद पार्किंग यार्ड में राजा रघुवंशी की हत्या के बाद सोनम रघुवंशी ने चौदह दिन इंदौर में बिताए। वह सिलिगुड़ी से ट्रेन में बैठकर 25 मई को इंदौर आ गई थी। वह एक किराए के फ्लैट में रुकी थी। बताते हैं कि फ्लैट उसने ही किराए पर लिया था।
इंदौर में रहकर वह मीडिया में चल रही राजा के मर्डर की खबरों पर नजर रखती थी। जब उसे भनक लगी कि शिलांग पुलिस को कुछ सुराग हाथ लगे हैं तो फिर राज ने उससे कहा कि वह इंदौर में सेफ नहीं है। फिर वह 7 जून को इंदौर से राज के पैतृक गांव रामपुर के लिए रवाना हुई, लेकिन आठ जून की रात को फिर गाजीपुर के ढाबे में चली गई, क्योंकि उसे पता चल गया था कि इंदौर में राज कुशवाह और बाकी तीन साथियों को पुलिस पकड़ चुकी है। 
इंदौर में रहकर वह मीडिया में चल रही राजा के मर्डर की खबरों पर नजर रखती थी। जब उसे भनक लगी कि शिलांग पुलिस को कुछ सुराग हाथ लगे हैं तो फिर राज ने उससे कहा कि वह इंदौर में सेफ नहीं है। फिर वह 7 जून को इंदौर से राज के पैतृक गांव रामपुर के लिए रवाना हुई, लेकिन आठ जून की रात को फिर गाजीपुर के ढाबे में चली गई, क्योंकि उसे पता चल गया था कि इंदौर में राज कुशवाह और बाकी तीन साथियों को पुलिस पकड़ चुकी है। 

राजा के केस से जुड़ी खबरों पर रखती थी नजर
राजा के मर्डर की प्लानिंग के समय ही सोनम ने छुपने के प्लान की तैयारी भी कर ली थी। उसे पता था कि लंबे समय तक उसे कहीं दिन बिताना पड़ेंगे, इसलिए वह अपने साथ नौ लाख रुपये केश और सोने के गहने भी ले गई थी। 23 मई को राजा की हत्या करने के बाद आरोपी और सोनम साथ नहीं निकले। सोनम जानती थी कि वह किसी दूसरे शहर में ज्यादा दिन तक छुपकर रहेगी तो उसे आधार कार्ड दिखाना होंगे और सीसीटीवी की कैद में भी आ सकती है। इसके चलते उसने इंदौर में रहने की पहले ही तैयारी कर ली थी। 

सोनम से मिलने के कारण राज देरी से जाता था दफ्तर
सोनम जब इंदौर में थी तो राज देरी से दफ्तर जाता था। अपने बहन की खोज में शिलांग में रुके भाई गोविंद को जब यह बात पता चली तो उसने राज को काॅल कर डांटा भी था। दरअसल राज सोनम के पास ज्यादा वक्त बिताता था। सोनम के कहने पर राज उसके घर में चल रही बातों की जानकारी भी उसे देता था। 
 

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here