UP के इस शहर में अब खत्म होगा नाइट बाजार का अस्तित्व

धार्मिक नगरी काशी सहित देश के 18 शहरों को पर्यटन क्षेत्र के रूप में विकसित किया जा रहा है। केंद्रीय योजना में वाराणसी भी शामिल है। इस क्रम में नगर निगम ने बेहतर सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए नाइट बाजार खत्म करने का निर्णय लिया है ताकि स्टेशन मार्ग को आकर्षक व विश्वस्तरीय सुविधाओं से युक्त बनाया जा सके।

नगर निगम कैंट-लहरतारा फ्लाईओवर के नीचे नाइट बाजार खत्म कर वहां रेल और बस यात्रियों सहित आमजन के लिए बेहतर सुविधाएं विकसित करने की योजना पहले ही बन चुकी है। योजना के तहत हरियाली, फसाड लाइटिंग और आधुनिक सुविधाओं से युक्त एक आकर्षक सार्वजनिक स्थल विकसित करने की योजना है।

राहगीरी फाउंडेशन ने फ्लाइओवर के नीचे के भू-भाग को आकर्षक बनाने की रूपरेखा भी तैयार कर ली थी। इसके तहत यात्रियों के लिए आधुनिक सुविधाएं के साथ अतिक्रमण मुक्त क्षेत्र बनाने के लिए कुछ पहाड़ीनुमा डिजाइन बनाने का प्रस्ताव है ताकि भविष्य में फ्लाइओवर के नीचे दुकानें न लग

निगम तत्कालीन मंडलायुक्त कौशल राज शर्मा के समक्ष इसका प्रेजेंटेशन भी कर चुका है। यही नहीं निगम नाइट बाजार को ध्वस्त करने की तैयारी भी कर चुका था, लेकिन कैंट विधायक सौरभ श्रीवास्तव के विरोध के चलते यह ठंडे बस्ते में चला गया था। इस बीच नाइट बाजार खत्म कर इस मार्ग को विश्वस्तरीय बनाने का प्रस्ताव केंद्रीय योजना शामिल कर लिया गया। इसे देखते हुए निगम नाइट बाजार को जल्द ध्वस्त करने की रूपरेखा बनाने में जुटा है।

विस्थापित होंगी दुकानें : नगर आयुक्त

नगर आयुक्त अक्षत वर्मा ने बताया कि नाइट बाजार ध्वस्त कर इसे पर्यटकों व यात्रियाें के लिए सुविधा स्थल के रूप में विकसित करने का लक्ष्य है। इस क्रम में स्टेशन के सामने की दुकानों को पूरी तरह से हटाने का निर्णय लिया है। दुकानों को कमलापति त्रिपाठी इंटर कालेज के आगे विस्थापित करने की योजना है। हालांकि स्थायी निर्माण की अनुमति नहीं दी जाएगी।

नाइट बाजार की सभी दुकानें अवैध 

नगर निगम नाइट बाजार का संचालन व देखरेख करने वाली फर्म श्रेया इंटरप्राइजेज अनुबंध पहले ही निरस्त कर चुका है। इसके बावजूद दुकानदारोें ने नाइट बाजार अब तक खाली नहीं किया है और किराया की वसूली भी मार्च से ही बंद है।

 वर्ष 2022 में  बना था नाइट बाजार 

वाराणसी स्मार्ट सिटी लिमिटेड ने वर्ष 2022 में करीब दस करोड़ की लागत से लहरतारा -चौकाघाट फ्लाइओवर के नीचे 1.7 किमी की लंबाई में नाइट बाजार विकसित किया गया था। स्मार्ट सिटी ने नाइट बाजार के संचालन व रखरखाव मेसर्स श्रेया इंटरप्राइजेज था। नाइट बाजार में दुकानों, ठेलों, वेंडिंग आदि का आवंटन व अनुबंध फर्म ने किया था।

आरोप है कि अतिरिक्त आय के चक्कर ने फर्म ने निर्धारित संख्या से अधिक दुकानाें का आवंटन कर दिया था। इसके चलते स्टेशन के सामने से आने-जाने का मार्ग पूरी तरह अवरूद्ध हो गया है। साथ ही परियोजना परिसर में अनअधिकृत रूप रेलिंग को काट कर बनाए गए यू-टर्न से संपूर्ण क्षेत्र में दुर्घटना बाहुल्य हो गया।

यात्रियों व स्थानीय निवासियों को पैदल आने-जाने में भी परेशानियाें का सामना करना पड़ रहा है। साफ़ सफ़ाई एवं कूड़ा प्रबंधन पूरी तरह से फेल है। इन तमाम कारणों को दृष्टिगत करते हुए निगम ने नाइट बाजार का अस्तित्व पूरी तरह से समाप्त करने का निर्णय लिया है।

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